झारखंड में राज्यसभा की दो सीटों के लिए 21 मार्च को चुनाए होंगे। एक सीट कांग्रेस के धीरज साहू और एक भाजपा के समीर उरांव के सेवानिवृत होने की वजह से खाली होगी। चुनाव की घोषणा के साथ ही राज्य में सियासी पारा चढ़ने लगा है। इस ऐलान के साथ ही ‘इंडिया’ की ओर से प्रत्याशी देने के लिए फॉर्मूला पर मशक्कत शुरू हो गई है। दूसरी ओर एनडीए फोल्डर भी अपनी रणनीति को धार देने में जुट गया है। वैसे विधानसभा का जो गणित है उसके अनुसार दोनों गठबंधनों को एक-एक सीट मिलेगी।
इस बार झारखंड से कांग्रेस कोटे की सीट खाली हो रही है। ऐसे में जानकारों का कहना है कि कांग्रेस का स्वाभाविक दावा तो बनता है, लेकिन गठबंधन धर्म में सर्वसम्मति से फैसला होगा। यह सीट किसके हिस्से आएगी। इसे लेकर कयास अभी से लगाए जा रहे हैं। पिछले कुछ दिनों के दौरान कांग्रेस में विधायकों का जो रुख देखने को मिला है उससे यही लगता है कि आलाकमान बहुत ध्यान से कोई निर्णय लेगा। यह भी उल्लेखनीय है कि झारखंड विधानसभा में झामुमो के पास अब 29 सीटें हैं। राज्यसभा की एक सीट जीतने के लिए प्रत्याशी को 28 वोटों की जरूरत होगी।
चार मार्च को जारी होगी अधिसूचना
चुनाव आयोग की ओर से जारी कार्यक्रम के अनुसार दोनों सीटों के लिए 4 मार्च को अधिसूचना जारी की जाएगी। नामांकन पत्रों की जांच 12 मार्च को होगी। दो से अधिक उम्मीदवार होने पर 21 मार्च को चुनाव कराया जाएगा। उसी दिन मतगणना पूरी कर नतीजे भी जारी किए जाएंगे। चुनाव की प्रक्रिया 23 मार्च तक पूरी कर ली जाएगी।
बता दें कि बता दें कि झारखंड से राज्यसभा सदस्य भाजपा के समीर उरांव और कांग्रेस के धीरज प्रसाद साहू का कार्यकाल इसी साल तीन मई को समाप्त होने जा रहा है। समीर उरांव 2018 में राज्यसभा सांसद चुने गए थे। वे भाजपा के बड़े आदिवासी चेहरों में शुमार रहे हैं। वे भाजपा में कई अहम पदों पर भी रह चुके हैं। वहीं मूल रूप से लोहरदगा के रहने वाले धीरज प्रसाद साहू कांग्रेस के बड़े नेता हैं। बताया जाता है कि वे 2010 से ही कांग्रेस के राज्यसभा सांसद हैं।
